जिला जालंधर के गांव रूड़का कलां के रहने वाले पंजाब के मशहूर पंजाबी गायक गैरी संधू (Garry Sandhu) एक बड़े विवाद में फंस गए हैं। उन पर हिंदू देवी-देवताओं के भजन का अपमान करने का आरोप लगा है। यह मामला अमेरिका के कैलिफोर्निया में आयोजित एक लाइव शो के दौरान का है, जहां उन्होंने मंच से ऐसा बयान दिया जिसने हिंदू समुदाय में नाराज़गी पैदा कर दी है।
🔹 क्या कहा गैरी संधू ने?
प्राप्त जानकारी के अनुसार, गैरी संधू ने अपने शो के दौरान मां वैष्णो देवी का प्रसिद्ध भजन “चलो बुलावा आया है” गाते हुए उसके बोलों में बदलाव किया। उन्होंने इसे अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से जोड़ते हुए कहा —
“चलो बुलावा आया है, ट्रंप ने बुलाया है।”
इस बयान के तुरंत बाद दर्शकों में मिली-जुली प्रतिक्रियाएं देखने को मिलीं, लेकिन सोशल मीडिया पर यह वीडियो वायरल होते ही मामला धार्मिक विवाद में बदल गया।
🔹 शिवसेना पंजाब का कड़ा विरोध
शिवसेना पंजाब के नेता भानु प्रताप ने गैरी संधू के इस बयान को हिंदू भावनाओं के खिलाफ बताया है। उन्होंने कहा कि किसी भी कलाकार को धार्मिक भजनों का मज़ाक नहीं उड़ाना चाहिए।
“गैरी संधू ने न केवल माता वैष्णो देवी के भजन का अपमान किया है, बल्कि हिंदू समाज की आस्थाओं से खिलवाड़ किया है,”
भानु प्रताप ने कहा।
उन्होंने यह भी जोड़ा कि इस मुद्दे को तरनतारन उपचुनाव के दौरान हिंदू समुदाय के नेताओं के सामने रखा जाएगा और गायक के खिलाफ संगठित विरोध प्रदर्शन करने की योजना पर विचार किया जा रहा है।
🔹 सोशल मीडिया पर गायक के खिलाफ गुस्सा
सोशल मीडिया पर गैरी संधू का यह वीडियो तेज़ी से वायरल हो गया है। हजारों यूजर्स ने गायक की आलोचना करते हुए लिखा कि “भजनों को मनोरंजन का साधन नहीं बनाया जा सकता।”
कई यूजर्स ने लिखा —
“हमारे देवी-देवताओं का मज़ाक उड़ाना बंद करो।”
“यह भक्ति गीत है, कोई मज़ाक नहीं।”
हालांकि, गैरी संधू की ओर से इस पूरे विवाद पर अभी तक कोई औपचारिक प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है।
🔹 कला और आस्था के बीच बहस फिर तेज़
इस घटना ने एक बार फिर मनोरंजन और धार्मिक भावनाओं के सम्मान के बीच संतुलन की बहस को जन्म दे दिया है। कई लोग मानते हैं कि कलाकारों को मंच पर अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता जरूर है, लेकिन धार्मिक प्रतीकों और भजनों से जुड़े विषयों पर संवेदनशीलता बनाए रखनी चाहिए।








