प्रवर्तन निदेशालय (ED) जालंधर जोनल ऑफिस ने 14 नवंबर 2025 को फगवाड़ा में चार अलग-अलग स्थानों पर छापेमारी की। यह कार्रवाई विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम (FEMA) 1999 के तहत कथित उल्लंघनों की जांच के सिलसिले में की गई। छापेमारी ओपल इंजीनियरिंग कॉर्पोरेशन (OEC) से जुड़े परिसरों में की गई, जिस पर गलत तरीके से निर्यात भुगतान प्राप्त करने का आरोप है।
ED की प्रारंभिक जांच में सामने आया कि यह फगवाड़ा स्थित फर्म सीरिया, ईरान, तुर्की, कोलंबिया सहित कई देशों को इंजीनियरिंग सामान निर्यात करती थी। लेकिन निर्यात का भुगतान FEMA नियमों और RBI दिशा-निर्देशों के मुताबिक प्राप्त नहीं किया गया। भुगतान को असंबंधित तीसरे पक्षों से समायोजित किया गया और कुछ रकम सीधे व्यक्तिगत खातों में ली गई। जांच में यह भी पाया गया कि इन एंट्रीज के लिए कोई त्रिपक्षीय समझौता या आवश्यक दस्तावेज मौजूद नहीं थे।
ED ने खुलासा किया कि कंपनी ने भुगतान की वैधता साबित करने के लिए फर्जी कस्टम विभाग के ईमेल पते का इस्तेमाल किया। इसके अलावा, कई निर्यात लेनदेन भारत और विदेश में नकद में निपटाए जाने के सबूत भी मिले हैं।
छापेमारी के दौरान 22 लाख रुपये की भारतीय मुद्रा, कई आपत्तिजनक दस्तावेज और इलेक्ट्रॉनिक उपकरण जब्त किए गए। ED ने कहा कि मामला गंभीर प्रकृति का है और जांच अभी जारी है। आने वाले दिनों में इस मामले में और भी खुलासे हो सकते हैं।








