पंजाब के वित्त मंत्री और आम आदमी पार्टी (आप) के वरिष्ठ नेता एडवोकेट हरपाल सिंह चीमा ने भाजपा पर चंडीगढ़ को पंजाब से छीनने की कथित साजिश रचने का गंभीर आरोप लगाया है। उन्होंने साफ कहा कि चंडीगढ़ सिर्फ और सिर्फ पंजाब का है, जिसे 24 गांवों को उजाड़कर बसाया गया था। चीमा ने चेतावनी दी कि चंडीगढ़ के अधिकारों पर किसी भी तरह का हमला बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
आनंदपुर साहिब में प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान चीमा ने बताया कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में पंजाब सरकार इस मुद्दे पर कानूनी लड़ाई लड़ेगी। वहीं दूसरी ओर आम आदमी पार्टी जनता के साथ मिलकर सड़क से संसद तक भाजपा की हर साजिश का डटकर विरोध करेगी। उन्होंने कहा कि पंजाब के 3 करोड़ लोग अपने हक की रक्षा के लिए एकजुट हैं।
चीमा ने भाजपा पर देश के लोकतांत्रिक और संघीय ढांचे को कमजोर करने का आरोप लगाते हुए कहा कि भाजपा “हिटलर की सोच” पर चल रही है। उन्होंने कहा कि जब पूरा पंजाब और देश श्री गुरु तेग बहादुर जी का 350वां शहीदी दिवस मना रहा है, तब चंडीगढ़ से जुड़े विवाद को हवा देना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है और लोगों की भावनाओं से खिलवाड़ करने जैसा है।
वित्त मंत्री ने कहा कि भाजपा की पंजाब-विरोधी नीतियों की सूची लंबी है—तीन काले कृषि कानून, बीबीएमबी में हस्तक्षेप, पंजाब यूनिवर्सिटी की सीनेट पर कब्जे की नाकाम कोशिश, और अब चंडीगढ़ को संविधान की धारा 240 के तहत केंद्र के सीधे नियंत्रण में लाने की योजना। उन्होंने इसे पंजाब के अधिकारों पर सीधा हमला बताया।
केंद्र सरकार द्वारा लाए जाने वाले संविधान (131वां संशोधन) बिल पर चीमा ने कड़ी प्रतिक्रिया दी। उनका कहना है कि यदि चंडीगढ़ को यूटी की तरह राष्ट्रपति के अधिकार क्षेत्र में लाने की कोशिश की गई, तो पंजाब इसे किसी हाल में स्वीकार नहीं करेगा।
अंत में उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में ‘आप’ सरकार हर मोर्चे पर पंजाब के अधिकारों की रक्षा करेगी और भाजपा की हर साजिश को बेनकाब करेगी।








