पटियाला। 15 अगस्त के मौके पर पटियाला जिले के नाभा ब्लॉक के कलसाना गांव की पंचायत को नई दिल्ली नगर काउंसिल में जल शक्ति मंत्री वी. समाना ने गांव की सफाई व्यवस्था के लिए स्वच्छ भारत अभियान के तहत सम्मानित किया। इस दौरान गांव के सरपंच गुरध्यान सिंह को भी मंच पर सम्मानित किया गया।
लेकिन इसी बीच एक बड़ी घटना ने सम्मान के इस पल को विवाद में बदल दिया। दरअसल, सरपंच गुरध्यान सिंह को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लाल किले पर आयोजित ध्वजारोहण कार्यक्रम में शामिल होने का न्योता मिला था, लेकिन सुरक्षा कारणों से उन्हें कार्यक्रम स्थल पर प्रवेश नहीं करने दिया गया।
सुरक्षाकर्मियों ने उनसे कहा कि श्री साहिब (ककार) उतारने के बाद ही एंट्री मिलेगी। सरपंच ने साफ शब्दों में कहा कि वे श्री साहिब नहीं उतारेंगे, क्योंकि यह उनके धर्म का हिस्सा है। इस पर उन्हें गेट पर ही रोक दिया गया और कार्यक्रम से बाहर लौटना पड़ा।
सरपंच ने कहा कि विदेशों में सिखों के साथ ऐसी घटनाएं पहले ही हो रही हैं, लेकिन दिल्ली में उनके साथ जो कुछ हुआ, वह बेहद अपमानजनक है। उन्होंने शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) और श्री अकाल तख्त साहिब से इस मामले पर कड़ा एक्शन लेने की मांग की है।
गांव मल्लेवाल के सरपंच गुरबचन सिंह बिल्लू और कलसाना गांव के पूर्व सरपंच ने इस घटना की कड़ी निंदा की है। उन्होंने कहा कि जब सरपंच दिल्ली से लौटेंगे तो गांव में उनका ढोल-नगाड़ों से स्वागत किया जाएगा। साथ ही, शिरोमणि कमेटी और जत्थेदार से मिलकर इस मुद्दे पर सख्त कार्रवाई की मांग की जाएगी।